सरकार द्वारा बैंकों के निजीकरण के खिलाफ बैंकों की दो दिवसीय हड़ताल शुरू।
रुद्रपुर। सरकार द्वारा बैंकों के निजीकरण के खिलाफ युनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियन के आह्वान पर आज से बैंक कर्मचारी दो दिवसीय हड़ताल पर चले गए है। हड़ताल पर जाने से पूर्व सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी की।
सरकार द्वारा बैंकों के निजीकरण के खिलाफ आज से युनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियन के आह्वान पर सभी बैंकों के कर्मचारी दो दिवसीय हड़ताल पर चले गए। आज हड़ताल पर जाने से पूर्व सभी बैंक कर्मचारी एकत्रित हुए और उन्होंने बैंकों पर जा जाकर बैंक बन्द किये तथा एकत्रित होकर सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की।
बैंक कर्मियों ने सरकार को निजी हाथों में देने के खिलाफ मुहिम चलाई है। बैंक कर्मचारियों का कहना है कि 1969 में निजी क्षेत्र के बैंकों का राष्ट्रीयकरण करते समय शाखाओं की संख्या 8000 थी जो अब 1.18 लाख है। इन सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के पास 1969 में 5000 करोड़ रुपये जमा राशि थी जो वर्तमान में 157 लाख करोड़ रुपये हो चुकी है। ऐसे में अगर बैंकों का निजीकरण करना है तो सिर्फ सरकार का मकसद पूंजीपतियों को लाभ पहुँचना है। जिसे किसी भी दशा में बर्दास्त नही किया जाएगा। साथ ही ऐसे करने से रोजगार की भी कमी होगी। वही बैंकों की हड़ताल से जिलेभर से अनुमानित 500 करोड़ का कारोबार प्रभावित होने की संभावना है। तो वही दूसरी ओर हड़ताल होने के चलते लोगो को भी भारी परेशानियों का सामना कर आ पड़ा।
इस दौरान समीर राय, आरके छाबड़ा मनोहर सिंह
बबलवंत सिंह, मनीष टोलिया, राहुल यादव, कैलाश, शकील अहमद, मयंक, राजकुमार, विकास कुमार, सुनील कुमार, एससी शर्मा आदि मौजूद थे।