सांप का जहर खत्म करने वाली दवा एंटीवेनम मिलेगी अब वन विभाग की चौकियों पर।
रुद्रपुर। भले ही ज़ब इंसान को अचानक सांप मिल जाये तब उसके रोंगटे खडे हो जाते हैं और सांप के द्वारा कटाने का डर सताने लगता है,लेकिन उधम सिंह नगर के वन विभाग ने ऐसी अनोखी पहल शुरू की है जोकि एक गुड न्यूज़ है। अब सांप के काटने पर अब घवराने की जरूरत नहीं है, क्योकि सांप के काटने के बाद उसके जहर को खत्म करने की एंटीवेनम नामक दवा अब वन विभाग को चौकियों पर मिलेगी। जो कही न कही सांप के काटे हुए व्यक्ति के लिए जीवनदायिनी से कम नही होगी तथा सांप के काटने से उसकी मौत भी नही होगी। वन विभाग द्वारा इस बरसात के सीजन में सभी चौकियों पर एंटीवेनम दवा को रख दिया है। उक्त मामले की जानकारी तराई सेंट्रल वन विभाग के डीएफओ उमेश चन्द्र तिवारी ने दी है।
आपको बता दें कि इस समय बरसात का मौसम चल रहा है और तराई क्षेत्र में सांपों का निकलना आम हो गया है। आये दिन घरों आदि में साँपो निकलते हुए देखा जा सकता है, जिसमे कुछ सांप जहरीले भी होते है। अचानक ही कुछ सांप अपने पास इंसानों को पाकर आक्रामक हो जाते है ओर काट लेते है। जिससे चलते लोगो को सही समय पर उपचार न मिल पाने से कई लोग अपनी जान गंवा बैठते हैं। साँपो के काटने से देश भर में हर साल करीब 2.5 लाख सांप के काटने की घटनाएं होती हैं।
इनमें से करीब 46 हज़ार लोगो की मौत हो जाती है। अलावा बहुत से मामलों की रिपोर्ट ही नहीं की जाती। जिसकी मुख्य कारण जल्द उपचार व एंटीवेनम दवा न मिलना भी एक मुख्य कारण रहता है। इसी के चलते अब उत्तराखंड सरकार द्वारा सांप के काटने के बाद उसके जहर का असर न हो और उस व्यक्ति की मौत न हो इसके किये अब वन विभाग ने बड़ी जिम्मेदारी निभाते हुए सभी वन विभाग की चौकियों पर एंटीवेनम दवाई उपलब्ध करा रहा है। जिससे सांप के काटने वाले व्यक्ति को राहत मिले। बरहाल वन विभाग ने अपनी सभी चौकियों पर एंटीवेनम दवाई इस बरसात की सीजन से उपलब्ध करा दी गई है। जो न कही सर्पदंश वाले व्यक्ति के लिए किसी जीवनदायिनी से कम साबित नही होगी।
उमेश चन्द्र तिवारी डीएफओ तराई केंद्रीय वन विभाग, ऊधम सिंह नगर ने बताया कि बारिश के सीजन में सांप जमीन के ऊपर आ जाते हैं जिससे खतरा बढ़ जाता है क्यों कि कई सांप जहरीले किस्म के होते हैं जिनके काटने से उनकी मौत भी हो जाती है जिसके बाद वन विभाग ने अब अपनी वन चौकीओं पर एंटीवेनम दवाई रख दी है जिससे लोगो की जान बचाई जा सके। अब ये दवाई वन विभाग की हर चौकी पर मिलेगी।